सम्मान पाकर गदगद हुई अमेरिका में हिंदी की पहचान बनी पूरनपुर की बेटी मृदुल कीर्ति, बताईं साहित्यक उपलब्धियां
पूरनपुर की बेटी डॉ मृदुल कीर्ति विश्व भर में योग व हिंदी साहित्य का परचम फहराये हुए
हैं। अब तक संस्कृत के 17 ग्रंथों का उन्होंने काव्यानुवाद करके बहुत बड़ी साहित्य साधना की है। लाइव सुनिये उनकी बात-
आज उन्हें प्रजापति ब्रह्मा कुमारी आश्रम में सम्मानित किया गया। सभी धर्म व संप्रदाय के लोग उनका अभिनंदन करने के लिए जुटे और स्मृति चिन्ह सौंपा गया।
कवि व पत्रकार सतीश मिश्र द्वारा अपनी नव प्रकाशित पुस्तक कलयुग के भगवान की प्रति उन्हें भेंट की गई। इस पुस्तक में मृदुल कीर्ति जी का जिक्र अपना पीलीभीत नामक कविता में किया गया है।
पत्रकार सतीश मिश्र द्वारा एक अन्य पुस्तक ब्रज विशेषांक भी उन्हें सौंपा गया।
इस मौके पर डॉ राजेश अग्रवाल, समाजसेवी अशोक खंडेलवाल, शेरपुर प्रधान नाजिया खान, उनके पति हाजी रियाजत नूर खाँ, भाकियू के चैतन्य देव मिश्रा, सिपाही लाल
डॉ सुखदेव सिंह चंदी, पत्रकार सर्वेश मिश्रा, समरवीर सिंह, पंडित अनिल शास्त्री, राइस मिलर रिंकू जी, डॉ किरण अग्रवाल, भावना अग्रवाल, रीमा जी, ज्योति गुप्ता, अर्चना सिंघल, रश्मि खंडेलवाल, सुधांशु अग्रवाल लोकेश सिंघल सहित काफी लोग मौजूद रहे।
मातृ शक्तियों की संख्या भी काफी अच्छी रही। उन्होंने अपने उद्बोधन में अपनी
साहित्यिक उपलब्धियां बताई। कहा कि सम्मान पाकर उन्हें काफी अच्छा लगा-
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