
फिर नहर में मिला बाघिन का शव, पीएम को भेजा
घुंघचाई। फिर से हरदोई ब्रांच नहर में बाघ का शव देखा गया। मामले की सूचना ग्रामीणों द्वारा विभाग को दी गई लेकिन वन्यकर्मी चाह रहे थे कि जनपद क्षेत्र से यह शव बह कर चला जाए लेकिन सजग ग्रामीणों की उपस्थिति के कारण आखिरकर बाघ के शव को नहर से कड़ी मशक्कत कर बाहर निकाला गया। शव पीएम के लिए भेजा गया। इस दौरान कई जिम्मेदार अधिकारी मौके पर मौजूद रहे। जनपद के जंगल टाइगर रिजर्व घोषित हैं जिससे यहां के वन्यजीव अभ्यारण के साथ जंगली औषधियां सुरक्षित संरक्षित रहे लेकिन अब भी जंगलों में घुसकर वन्य जीव जंतुओं के साथ लोग आघात पहुंचा रहे हैं। शनिवार को क्षेत्र के हरदोई ब्रांच नहर में बाघ का शव तैरता हुआ देखा गया। ग्रामीणों ने मामले की सूचना विभागीय अधिकारियों को दी लेकिन काफी देर तक कोई भी मौके पर नहीं पहुंचा। लोगों के अनुसार कर्मचारी चाहते थे कि यह सब जनपद की सीमा क्षेत्र से बाहर चला जाए जिससे उच्चाधिकारियों को जवाबदेही से बचने का मौका मिल सके लेकिन बाघ का शव दंदोल कॉलोनी पुल के पास झाड़ियों में फस गया। जिस पर कड़ी मशक्कत के बाद सामाजिक वानिकी और दियोरिया रेंज के कर्मचारियों ने बमुश्किल बाहर निकाला। बाघ के शव पर काफी जख्म थे। आनन-फानन में शव को कट्टे में लपेट कर ले जाया गया। देखें वीडियो-
सामाजिक वानिकी के रेंजर अयूब हसन ने बताया कि बरेली स्थित आईआरबीआई में पीएम के लिए शव को भेजा जा रहा है जिससे बाघ की मृत्यु कैसे हुई उसका खुलासा हो पाएगा।
इससे पहले भी कई घटनाएं हो चुकी हैं
हरदोई ब्रांच नहर में बाघ के शव मिलने की पहली घटना नहीं है इससे पहले भी कई बार बाघ के शव नहर में तैरते देखे गए थे। शनिवार को जो बाघ मिला इस पर काफी जख्म के निशान हैं। लोगों का अंदाजा है कि कहीं इसको जानबूझकर क्षति पहुंचाई गई होगी। हरदोई ब्रांच नहर से मात्र 300 मीटर की दूरी पर टाइगर रिजर्व का जंगल है। बाघ की मौत कैसे और किन कारणों से हुई इस पर सवालिया निशान जरूर लगा है। किस जगह का यह बाघ है इसको लेकर चर्चाएं होती रही। कुछ लोगों का कहना है कि जंगल में कुछ लोग घुसपैठ करके वन्य जीव जंतुओं को क्षति पहुंचा रहे हैं कहीं वही कारण तो नहीं जो बाघ की मौत हुई है। दंदोल पुल पर इस बाघ को मिलाकर तीसरी बार बाघ का शव हरदोई ब्रांच नहर में मिला जो इसी पुल पर निकाला गया। घटनाक्रम को लेकर के लोग इसलिए बचते रहे कि कॉलोनी में बाघ की मौत ग्रामीणों पर हमला करने के बाद उग्र हुए लोगों ने कर दी थी जिसमें कई लोग नामजद हुए इसीलिए घटनाक्रम को नजरअंदाज करते हुए विभाग के आला अधिकारियों को जानकारी नहीं दी गई। फिलहाल काफी देर तक लोग मौके पर ही नहीं पहुंचे कि फिर से हम इस घटनाक्रम में फस ना जाएं।
यह विज्ञप्ति आई वन विभाग की
रिपोर्ट-लोकेश त्रिवेदी