
चंदनचौकी में हुआ सन्त समागम का आगाज
(लखीमपुर से निर्जेश मिश्र की रिपोर्ट)
पलियाकलां-खीरी। चन्दनचौकी सरस्वती शिशु मन्दिर में गुरुनानक देव के 550वें प्रकाशोत्सव के उपलक्ष्य में दो दिवसीय अन्तर्राष्ट्रीय संत सम्मेलन का आयोजन ग्राम स्वराज मंच द्वारा किया गया। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि हरिद्वार से पहुंची साध्वी प्राची ने कार्यक्रम का शुभारंभ भगवान श्रीराम, पूज्य गुरुनानक देव जी व महाराणा प्रताप सिंह के समक्ष दीप प्रज्वलित करके किया।
कार्यक्रम का उद्देश्य भारत-नेपाल सीमा पर गुप्त रूप से लालच देकर धर्म परिवर्तन को लेकर संत समाज से उसे रोकने व जनजाति में जागरूकता लाने का था। मुख्य अतिथि साध्वी डॉ. प्राची ने कहा कि भारत देश की संस्कृति, संस्कार एवं सभ्यता को धीरे-धीरे खत्म करने की साजिश की जा रही है। उन्होंने आदिवासी समाज के साधू-संतो से आवाहन किया कि आप अपने बच्चों को भागवद्गीता व श्रीरामचरितमानस का पाठ करने के लिए प्रेरित करें। ताकि बच्चे शिक्षित होने के साथ-
साथ संस्कारवान बनकर एक सभ्य समाज की स्थापना कर सकें। उन्होंने मौजूद अतिथियों को भी श्रीरामचरितमानस, भगवद्गीता जैसे धार्मिक ग्रंथों को पढ़कर उनके अनुसार कर्म करने के लिए प्रेरित किया। कार्यक्रम का संचालन आचार्य संजय ने किया। सम्मेलन में उमाशंकर मिश्र, रमय, बलजीत सिंह, ओमप्रकाश, रामशंकर, विशम्भर दयाल, सीओ राकेश कुमार नायक, चंदनचौकी इंस्पेक्टर सियाराम व प्राधानाचार्य राजेश वर्मा सहित भारत व नेपाल से पहुंचे दूर-दराज के सैकड़ संत मौजूद रहे।
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