कांग्रेस की तेज तर्रार नेत्री कमला मिश्रा का निधन, सोमवार को होगा अंतिम संस्कार

पूरनपुर : पीलीभीत जिले की तेज तर्रार कांग्रेस नेत्री कमला मिश्रा (80) का आज दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। उनका अंतिम संस्कार सोमवार सुबह 11 बजे उनके पैतृक गांव कसगंजा में होगा। वे कांग्रेस सेवा दल से जुड़ी रहीं और तेज तर्रार छवि के लिए प्रख्यात थीं। उनके निधन से शोक की लहर दौड़ गई। कमला मिश्रा एक दशक पहले तब चर्चा में आईं थीं जब वे पूरनपुर कोतवाली में तत्कालीन तेज तर्रार सीओ से भिड़ गईं थीं। लंबे आंदोलन के बाद सीओ को हटवाने के बाद ही उन्होंने अपना अनशन तोड़ा था। वे उस समय कुछ साधु संतों के हित की लड़ाई लड़ रहीं थीं और फरियाद सुनाने कोतवाली पहुंचने पर सीओ से हॉट टॉक व हाथापाई हो गई थी। पांच दशक पहले उनके एक अलग तस्वीर थी। खादी की साड़ी और हाथ में लाइसेंसी दुनाली बंदूक लेकर वे घूमतीं थीं और पुलिस पर भी रौब गांठती थीं। वे अपने पीछे भरा पूरा परिवार छोड़ गईं हैं। उम्र बढ़ने के साथ ही वे पिछले कुछ दिनों से वे बीमार थीं। उनके घर शोक संवेदना व्यक्त करने वालों का तांता लगा हुआ है।

दो दिन में जिले ने खो दिए 2 तेज तर्रार नेता

अभी 2 दिन पूर्व ही कांग्रेस नेता शिवराम सागर उर्फ ललुआ पडरिया

का निधन बीमारी के चलते हो गया था। शनिवार को ही उनका अंतिम संस्कार उनके पैतृक ग्राम पडरिया में हुआ और रविवार सुबह एक और तेज तर्रार नेत्री कमला मिश्रा ने अंतिम सांस ली। संयोग यह कि 2 दिन के अंदर ही दो तेज तर्रार नेता जिले को छोड़ गए। दोनों ही कांग्रेस के नेता रहे और अपने जमाने में दोनों का काफी रौब रहता था। शिव राम सागर मिश्रा लोकतंत्र सेनानी भी थे जबकि कमला मिश्रा ने बिना किसी पद के ही अपनी अलग पहचान बना रखी थी।

महुआगुंदे के प्रख्यात आल्हा रचनाकार स्वर्गीय पंडित हजारीलाल शास्त्री जी ने अपनी जीवनी में भी कमला मिश्रा के स्वरूप का कुछ इस तरह वर्णन किया है..

कमला मिश्रा कासगंजा की लइ बंदूक पहुंचीं आइ।

शायद यह कमला मिश्रा के उनके यहां किसी कार्यक्रम में पहुंचने का वर्णन है।

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