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लकड़ी काटने पर माफियाओं के साथ हुई फायरिंग, एक को पकड़ा

घुंघचाई। जंगल के जनपद भले ही टाइगर रिजर्व में हो लेकिन विभागीय संरक्षण में जंगल की बेशकीमती लकड़ी को बेहिसाब काट लिया। सूचना पर सजग हुई सामाजिक वानिकी की टीम ने जब पकड़ने का प्रयास किया तो माफियाओं के साथ फायरिंग हुई। जिसमें वन कर्मी बाल बाल बचे कड़ी घेराबंदी के बाद लकड़ी से भरी डीसीएम सहित लकड़ी काटने आए एक आरोपित को गिरफ्तार किया गया है वहीं लोगों का कहना है कि कुछ लोगों को सांठगांठ कर पहले ही छोड़ दिया गया घटनाक्रम से उथल-पुथल मच गई बड़े अधिकारी मामले की जानकारी पर जांच को पहुंचे आरोपितों पर वन अधिनियम के तहत मुकदमा पंजीकृत किया गया इससे पहले भी लकड़ी माफिया जंगल काटने में मशगूल रहे हैं।

शासन द्वारा जनपद के जंगल अधिकांश टाइगर रिजर्व में चयनित कर लिए गए लेकिन अभी भी कई क्षेत्र हैं यहां पर वन में घुसने पर कोई प्रतिबंध नहीं है यह सब मामला सूत्रों के अनुसार विभाग की रजामंदी से होता है गुरुवार की रात मंडनपुर जंगल के कंपार्टमेंट नंबर साथ में कुछ लकड़ी माफिया साल सागौन की लकड़ी काटने के लिए देर रात चोरी चुपके गुस्से मामले की भनक जंगल के किनारे रहने वाले लोगों को लग गई और सूचना वन विभाग के अधिकारियों को दी गई जिस पर मन कर्मी मौके पर पहुंचे लेकिन इस दौरान लकड़ी माफिया डीसीएम में लकड़ी भरकर जंगल से बाहर निकलने की फिराक में थे वन कर्मियों को आता देख उन्होंने डीसीएम दौड़ा दी वन कर्मियों ने रुकने के लिए कहा जिस पर माफियाओं की तरफ से फायरिंग की गई जिस पर जवाब देते हुए माफिया वन कर्मियों की फायरिंग के सामने भाग निकले इस दौरान वन कर्मियों की टीम ने लकड़ी काटने आए एक आरोपित फैजान को हिरासत में ले लिया और गाड़ी भी मौके पर ही पकड़ ली इस दौरान जंगल में भी बड़ी तादाद में कटी हुई लकड़ी रह गई घटनाक्रम की सूचना पर आला अधिकारी डीएफओ संजीव कुमार एसडीओ के अलावा सामाजिक वानिकी के रेंजर आयूव हसन थे जिन्होंने वन अधिनियम के तहत आरोपितों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत करवाया इससे पहले भी इस जंगल से विभाग की मिलीभगत के कारण बड़े पैमाने पर लकड़ी काटने का मामला प्रकाश में आ चुका है लेकिन विभागीय कर्मचारियों पर भी कार्यवाही ना होने के कारण लकड़ी माफियाओं के हौसले बुलंद हैं ।

जनपद शाहजहांपुर का क्षेत्र पीलीभीत में आ चुका है लेकिन जंगलात का समायोजन अभी भी पीलीभीत में ना होने के कारण दो तरफ के आला अधिकारियों की कमान वन विभाग के कर्मचारियों पर नहीं रहती है जिससे जंगल को काटने के लिए माफिया विभागीय कर्मचारियों से सांठगांठ कर मोटा मुनाफा कमा रहे हैं वहीं जंगलात की काफी जमीन अभी भी वन विभाग अपने अधिकार क्षेत्र में नहीं ले पाई है जिससे जंगल को क्षति पहुंचाने वाले लोगों के हौसले बुलंद हैं कुछ दिन पहले शाहजहांपुर के डीएफओ आदर्श कुमार ने इसी जंगल से काटी गई लकड़ी को पकड़ा जरूर था लेकिन मामला शीशम होने का बताकर टरका दिया तब भी पूरनपुर तहसील के शेरपुर के नामी-गिरामी लकड़ी माफिया अवैध लकड़ी कटाने के मामले में संलिप्त थे यह सब लकड़ी पीलीभीत के एक व्यापारी को दी जानी थी इससे पहले भी बेशकीमती जंगल की लकड़ी दी जा चुकी है। रिपोर्ट-लोकेश त्रिवेदी

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